महास्नान के बाद बीमार हुए महाप्रभु जगन्नाथ, रहेंगे 14 दिन के एकांतवास में, पिलाया जाएगा काढ़ा
कोरबा। दादरखुर्द स्थित मंदिर में महाप्रभु श्री जगन्नाथ की रथयात्रा महोत्सव की तैयारी शुरू हो गई है। मंगलवार को पूर्णिमा तिथि पर महाप्रभु श्रीजगन्नाथ, बड़े भाई श्रीबलभ्रद और बहन सुभद्रा स्नान कराया गया। विशेष पूजा-अनुष्ठान किया गया। महास्नान के कारण महाप्रभु बीमार हो गए। इसी के साथ भगवान श्रीजगन्नाथ 14 दिनों के लिए एकांतवास पर चले गए हैं। उन्हें काढ़ा पिलाया जाएगा।
मंदिर के पुजारी कृष्णा द्विवेदी ने बताया कि महाप्रभु के एकांतवास की अवधि के दौरान विभिन्न जड़ी-बूटियों का काढ़ा व दिव्य औषधियों का भोग लगाया जाएगा। 26 जून को नेत्र उत्सव का आयोजन किया जाएगा। इसके बाद मंदिर का पट श्रद्धालुओं के दर्शन के लिए खोले जाएंगे। 27 जून को दादराुर्द श्रीजगन्नाथ मंदिर से भव्य रथयात्रा निकाली जाएगी। जिले के दादरखुर्द स्थित श्रीजगन्नाथ मंदिर में पूरी की तर्ज पर 124 साल से महाप्रभु का रथयात्रा महोत्सव मनाया जा रहा है। इसी तरह यह सीतामणी स्थित श्रीराम मंदिर, सप्तदेव मंदिर, बालकोनगर सहित अन्य उप नगरीय व ग्रामीण क्षेत्र के मंदिरों में परंपरानुसार कार्यक्रम संपन्न हुए। पंडित ने बताया कि यह प्रथा वर्षों से चली आ रही है। भगवान जगन्नाथ को ज्येष्ठ पूर्णिमा के दिन स्नान करवाया जाता है। इसे स्नान यात्रा कहा जाता है। इसके बाद जब महाप्रभु स्वस्थ होते हैं, तब वे अपने भाई बदलभद्र और बहन सुभद्रा के साथ अपनी मौसी के घर नौ दिनों लिए रहने जाते हैं। इसके लिए परंपरा अनुसार रथयात्रा निकाली जाती है। इसकी तैयारी शुरू हो गई है। रथ यात्रा को लेकर श्रद्धालुओं में खासा उत्साह का माहौल है। इस वर्ष 27 जून को रथयात्रा निकाली जाएगी। इसकी भव्य तैयारी के लिए मंदिर प्रबंधन जुट गई है। रथ के मरमत व मंदिर के रंगरोगन का कार्य प्रारंभ हो गया है। लगभग 12 से 14 दिनों के भीतर रथ बनकर तैयार हो जाएगी। इसी रथ में सवार होकर भगवान जगन्नाथ, भाई बलभद्र और बहन सुभद्रा मौसी के घर जाएंगे।