लोकसभा की लीड बरकरार रखने में कामयाब रही भाजपा, नगर निगम क्षेत्र में भाजपा का दबदबा कायम
कोरबा। कोरबा अब भाजपा का गढ़ बन चुकी है। लोकसभा चुनाव में हार के बाद भी भाजपा ने कोरबा में 50 हजार वोटों की लीड ली थी। लोकसभा की इस लीड को नगर निगम चुनाव में भी रिपीट करने में भाजपा कामयाब रही है। भाजपा की संजू देवी राजपूत ने 48 हजार से अधिक वोटों से जीत दर्ज कर निगम इतिहास में सबसे अधिक वोटों की जीत का कीर्तिमान स्थापित कर दिया है। नगरीय निकाय चुनाव में ऊर्जाधानी कोरबा में बीजेपी ने बड़ी जीत हासिल की है। जिले के 6 निकायों में कटघोरा को छोडक़र सभी 5 में बीजेपी ने शहर की सरकार बना ली है। सबसे अधिक चर्चा नगर पालिक निगम कोरबा के चुनाव परिणाम को लेकर है। 10 साल बाद बीजेपी का सूखा समाप्त हुआ है और सत्ता में वापसी हुई है। नगर निगम कोरबा में 10 साल तक कांग्रेस की सत्ता थी। नगर निगम कोरबा के लिए यह महापौर का छठवां चुनाव था। अब तक हुए किसी भी चुनाव में भाजपा के महापौर ने इतनी बड़ी लीड के साथ चुनाव नहीं जीता है। जीत का अंतर हमेशा काफी करीबी रहता था, लेकिन इस बार बीजेपी की संजू देवी राजपूत ने 48000 वोट से अधीक की लीड लेकर रिकॉर्ड मतों से जीत दर्ज की है।पिछली बार कोरबा जिले में जब लोकसभा का चुनाव हुआ था, तब सरोज पांडे कांग्रेस की ज्योत्सना महंत से जरूर हार गई थी, लेकिन उन्होंने कोरबा विधानसभा से 50 हज़ार मतों की लीड बनाई थी। सबके मन में यह सवाल था कि यह लीड निकाय चुनाव में रिपीट होगी या फिर नगर पालिक निगम कोरबा के पूर्व के चुनावो की तरह कांटे की टक्कर रहेगी। परिणाम आने के बाद अब यह स्पष्ट हो चुका है कि लोकसभा चुनाव के लिए जिन लोगों ने लोकसभा के चुनाव में भाजपा को मतदान किया था, उन सभी ने इस बार भी भाजपा पर भरोसा जताया।नगर पालिक निगम कोरबा के कुल 67 वार्डों में महापौर की प्रचंड जीत के साथ ही पार्षदों ने भी ऐतिहासिक जीत दर्ज की है। कुल 67 में से 45 पार्षद बीजेपी के जीत कर आए हैं। कांग्रेस 11 सीटों पर सिमट गई है, जबकि 11 निर्दलीय पार्षद भी जीते हैं।